भारत भारद्वाज

परिक्रमा: हिंदी साहित्य: वर्ष 2019

लिखो 

कि अभी सपने देख़ने की मनाही नहीं हुई है

और फूलों को खिलकर मुरझाने के लिए 

एक आज की मुहलत मिली हुई हैः

शब्द घायल भले हो गए हों 

उनमें सोच, चीख़ और प्रार्थना बचे हुए हैं

लिखो  

 

कि उन सभी की कथा लिखो जानी है 

जो अकारण निरपराध मारे जा र....

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